आज जारी हो सकती है भाजपा की सूची, मध्यप्रदेश लोकसभा चुनाव में भोपाल संसदीय सीट पर टिकी सबकी निगाहें, भाजपा को बड़े चेहरे की तलाश
लेकिन भैयाजी जोशी की चर्चा के बाद अब पूर्व मुख्यमंत्री उमा भारती और केन्द्रीय मंत्री नरेन्द्र सिंह तोमर को भी भोपाल से उतारने पर विचार हो रहा है। हालांकि उमा 2019 में चुनाव लडऩे से इनकार कर चुकी हैं, लेकिन केंद्रीय नेतृत्व के निर्देश पर बुधवार को हुई बैठक में उनके नाम पर मंथन हुआ। प्रदेश के पार्टी उम्मीदवारों की दूसरी सूची गुरुवार को जारी हो सकती है।
केंद्रीय नेतृत्व के निर्देश पर हुई इस बैठक में पूर्व मुख्यमंत्री शिवराज, भाजपा प्रदेश अध्यक्ष राकेश सिंह और संगठन मंत्री सुहास भगत शामिल थे। इस दौरान राज्यसभा के किसी वरिष्ठ सदस्य को भी भोपाल से उतारने पर विचार किया गया।
बाद में शिवराज सिंह और सुहास भगत ने केंद्रीय मंत्री नरेंद्र ङ्क्षसह तोमर के बंगले पर पहुंचकर उनसे भी चर्चा की। सूत्रों के मुताबिक, गुरुवार को होने वाली बैठक में भोपाल के साथ इंदौर, सागर और ग्वालियर सीट पर उम्मीदवारों के नामों को लेकर विचार किया।
ताई ने छिपाया चेहरा: इंदौर की एक चुनावी बैठक में लोकसभा अध्यक्ष सुमित्रा महाजन के साथ जब कुछ शिक्षिकाओं ने सेल्फी लेने की कोशिश की तो उन्होंने हाथ से चेहरा छिपा लिया। फिर फोटो डिलीट करवा दिए।
इंदौर में मालिनी गौड़ का नाम आगे
इंदौर में 75 पार के फार्मूले के कारण सुमित्रा महाजन का नाम होल्ड होने पर विधायक मालिनी गौड़ का नाम आगे है। यहां से कैलाश विजयवर्गीय का नाम भी था, लेकिन परिवारवाद के कारण पेंच फंस गया। कैलाश के पुत्र आकाश इंदौर से विधायक हैं।
बगावत रोकने शिवराज सिंह को दी जिम्मेदारी
शिवराज सिंह चौहान को बगावत रोकने की जिम्मेदारी दी गई है। वे हर दिन प्रदेश कार्यालय में टिकट के दावेदारों और नाराज नेताओं को मनाएंगे।
इधर, दिग्विजय ने संघ-भाजपा पर साधा निशाना
‘संघ यदि हिंदूवादी संगठन है तो मेरे जैसे हिंदू से बैर क्यों’
पूर्व मुख्यमंत्री दिग्विजय सिंह भोपाल से कांग्रेस प्रत्याशी बनने के बाद चुनावी मोड में आ गए हैं। बुधवार को उन्होंने पीसीसी में कार्यकर्ताओं की बैठक में संघ और भाजपा पर निशाना साधा। उन्होंने कहा, मैं हिंदू हंू और आरएसएस भी खुद को हिंदूवादी संगठन कहता है तो मुझसे बैर क्यों रखता है। मैं इनकी नस-नस से वाकिफ हूं। ये हिंदू-मुस्लिम भी कर सकते हैं। न मैं इनसे डरता हंू और न धौंस में आता हंू। जहां कहें मैं वहां निपटने को तैयार हूं।
दिग्विजय ने कहा, भाजपा से उनके खिलाफ शिवराज सिंह उतरें या प्रज्ञा, उन्हें फर्क नहीं पड़ता। दिग्विजय ने कार्यकर्ताओं से कहा, मुझे चुगलखोरी और चमचागिरी से नफरत है। मेरी जगह गांधी, नेहरू, इंदिरा, राजीव और राहुल गांधी के नारे लगाए जाएं। फूल-माला और ढोल ढमाके से स्वागत नहीं होना चाहिए। भोपाल से मैं नहीं, पार्टी चुनाव लड़ रही है।