शाजापुर। न्याययालय विशेष न्यायाधीश लैंगिक अपराधों से बालकों का संरक्षण अधिनियम 2012 एवं द्वितीय अपर सत्र न्यायाधीश शाजापुर द्वारा आरोपी संदीप पिता स्व. श्री विष्णु चौखुटिया उम्र 19 वर्ष निवासी ग्राम सुनेरा जिला शाजापुर को धारा 452 भादसं में 3 वर्ष के सश्रम कारावास और 2000 रूपये के अर्थदण्ड से दण्डित किया गया। जुर्माना अदा ना करने पर 6 माह के अतिरिक्त सश्रम कारावास की भी सजा सुनाई। धारा 354 भादसं में 3 वर्ष के सश्रम कारावास और 5000 रूपये के अर्थदण्ड से दण्डित किया गया। जुर्माना अदा ना करने पर 1 वर्ष के अतिरिक्त सश्रम कारावास की भी सजा सुनाई। धारा 8 लैंगिक आपराधों से बालको का सरंक्षण अधिनियम 2012 में 5 वर्ष के सश्रम कारावास और 5000 रूपये के अर्थदण्ड से दण्डित किया गया। जुर्माना अदा ना करने पर 1 वर्ष के अतिरिक्त सश्रम कारावास की भी सजा सुनाई।
जिला लोक अभियोजन अधिकारी एवं विशेष् लोक अभियोजक देवेन्द्र मीणा ने बताया कि, उक्त अर्थदण्ड की राशि जमा होने पर उसमें से 10,000 रूपये प्रतिकर स्वरूप पीडिता को उसके वैध सरंक्षक के माध्यम से अपील अवधि पश्चात अपील ना होने पर प्रदान किये जाने के भी आदेश दिये गये। पीडिता को उचित प्रतिकारात्मक राशि दिलाये जाने बाबत जिला विधिक सेवा प्राधिकरण शाजापुर को अनुशंसा भी न्यायालय द्वारा की गई है।
देवेन्द्रा मीणा ने यह भी बताया कि, दिनांक 8 मार्च 2019 को दिन के करीब 1 बजे आरोपी ने पीडिता के घर के अंदर घुस कर बुरी नियत से पीडिता का हाथ पकड लिया था। पीडिता ने उक्त घटना की रिपोर्ट थाना सुनेरा पर लिखाई थी। प्रकरण का संचालन व अंतिम तर्क देवेन्द्र मीणा विशेष लोक अभियोजक द्वारा किये गये। आरोपी को आज न्यायालय द्वारा उपरोक्त अनुसार सजा सुनाई गयी।
उल्लेखनीय है कि संचालक लोक अभियोजन/ महानिदेशक श्री पुरूषोत्तम शर्मा का बालकों के विरूद्ध होने वाले लैंगिक शोषण के अपराधों के प्रति सख्त रवैया है और उनके द्वारा पॉक्सो एक्ट के प्रकरणों की लगातार समीक्षा की जाती है। इस प्रकरण की भी उनके द्वारा मॉनिटरिंग की जा रही थी और इस हेतु राज्य समन्वयक के पद पर सुश्री सीमा शर्मा एडीपीओ रतलाम की नियुक्ति भी की गई है।