भोपाल। भारत सरकार ने अपने कर्मचारियों का डीए जनवरी 2019 से 3% अतिरिक्त बढ़ा कर 9 के बजाय 12% देने का निर्णय लिया है जो स्वागत योग्य कदम है। मप्र तृतीय वर्ग शासकीय कर्मचारी संघ के प्रांतीय उपाध्यक्ष कन्हैयालाल लक्षकार ने कहा कि प्रदेश के पेंशनरों एवं कर्मचारियों का डीए केन्द्रीय कर्मचारियों की तुलना में काफी कम है।
प्रदेश के पेंशनरों को जनवरी, जुलाई 2018 व जनवरी 2019 से क्रमशः 2; 2 व 3% एवं कर्मचारियों को जुलाई 2018 व जनवरी 2019 से 2% व 3% डीए देय है जिस पर सरकार की चुप्पी बेचैनी पैदा कर रही है। प्रदेश सरकार ने पेंशनरों को 5% व कर्मचारियों को 7% डीए पर रोक रखा है इससे कर्मचारियों में आक्रोश व्याप्त हैं।
मप्र तृतीय वर्ग शासकीय कर्मचारी संघ प्रदेश की कमलनाथ सरकार से निवेदन है कि “लोकसभा चुनाव आचार संहिता के पूर्व डीए दिया जाकर इस वर्ग की नाराजगी दूर करना चाहिए।” याद दिला दें कि मध्यप्रदेश सरकार छत्तीसगढ़ का बहना बनाकर और छत्तीसगढ़ सरकार, मध्यप्रदेश का बहाना बनाकर पेंशनर्स का हक दबाकर रखती आई है।