भाजपा महासचिव विजयवर्गीय ने कार्यकर्ताओं को संबोधित करते वक्त मध्य प्रदेश की कांग्रेस सरकार को गिराने वाला बयान दिया था
इंदौर। बीते कुछ दिनों में भाजपा नेताओं की हत्या को लेकर प्रदेश का सियासी पारा चढ़ा हुआ है। जहां कांग्रेस इसे भाजपा का अंदरूनी मामला बता रही है। वहीं भाजपा ने इन हत्याओं को आधार बनाकर प्रदेश की कानून व्यवस्था पर सवाल खड़े किए हैं। इसे लेकर पूर्व सीएम शिवराज सिंह चौहान ने भी ट्वीट कर प्रदेश सरकार पर सवाल खड़े किए हैं। वहीं अब इस मसले पर भाजपा महासचिव कैलाश विजयवर्गीय का भी बयान आया है। इंदौर में साइक्लोथॉन इवेंट की तैयारियों से पहले आयोजित की गई साइकिल रैली से इतर विजयवर्गीय ने इस मुद्दे पर प्रदेश सरकार पर निशाना साधा। उन्होंने कहा कि, “शायद यही है वक्त बदलाव का। पहले गुंडे पुलिस से डरते थे, लेकिन अब गुंडे बेखौफ होकर आम लोगों को डरा रहे हैं।”
वहीं प्रदेश सरकार को गिराने का बयान देने के बाद उपजे विवाद पर उन्होंने कोई प्रतिक्रिया नहीं दी। उन्होंने कहा कि, अब मैं कोई प्रतिक्रिया नहीं दूंगा, लेकिन मौका आएगा तब इसका जवाब खुद-ब-खुद मिल जाएगा। बता दें कि भाजपा कार्यकर्ताओं की एक बैठक को संबोधित करते हुए भाजपा महासचिव विजयवर्गीय ने कहा था कि, बॉस का इशारा मिल जाए तो सरकार गिरा देंगे। उनके इस बयान पर काफी बवाल मचा था और कांग्रेस ने आरोप लगाया था कि भाजपा हॉर्स ट्रेडिंग में लगी हुई है।
वहीं कैलाश विजयवर्गीय ने इंदौर से लोकसभा चुनाव लड़ने के सवाल पर कहा कि पार्टी का आदेश होगा तो मैं मना नहीं करूंगा। बीआरटीएस को उखाड़कर फेंक देने के सज्जनसिंह वर्मा के बयान पर कहा कि मंत्री को पद की शपथ लेने के बाद ऐसी बयानबाजी नहीं करना चाहिए।
