नाबालिग बालक के साथ अप्राकृतिक कृत्य करने वाले दरिंदे को फांसी की सजा
मध्यप्रदेश लोक अभियोजन संचालक श्री पुरूषोत्तम शर्मा भोपाल के मार्गदर्शन से ग्वालियर अभियोजन ने पोक्सो एक्ट के अपराधी को कराई फांसी की सजा
ग्वालियर। पॉक्सो एक्ट के आरोपी योगेश उर्फ जोगेश नाथ पिता लालसिंह नाथ, नाथ मोहल्ला शंकरपुर बहोडापुर ग्वालियर को माननीय न्यायालय श्रीमती अर्चना सिंह विशेष न्यायाधीश पॉक्सो एक्ट ने धारा 302 भादवि में मृत्युदण्ड, धारा 363 भादवि में 7 वर्ष का सश्रम कारावास एवं 2000 रूपये का जुर्माना, धारा ¾ पोक्सो एक्ट में 10 वर्ष का सश्रम कारावास एवं 2000 रूपये का जुर्माना धारा 201 भादवि में 7 वर्ष का सश्रम कारावास एवं 2000 रूपये के अर्थदण्ड से दण्डित किया। एवं उक्त प्रकरण में शासन की ओर से पैरवी जिला अभियोजन अधिकारी श्री अब्दुल नसीम ग्वालियर एवं श्री अनिल मिश्रा एडी. डीपीओ ग्वालियर के द्वारा की गयी।
श्री पुरुषोत्तम शर्मा, संचालक लोक अभियोजन मध्यप्रदेश बालकों के विरुद्ध लैंगिक शोषण के अपराधों के त्वरित न्याय निर्णय एवं अपराधियों को कठोर दंड के पक्षधर हैं। इसके सुचारू संचालन हेतु श्री शर्मा द्वारा बालकों के विरुद्ध लैंगिक शोषण के अपराधों हेतु राज्य समन्वयक नियुक्त किए गए हैं तथा स्वयं श्री शर्मा प्रदेश के संपूर्ण बालकों के विरुद्ध लैंगिक शोषण के अपराधों की स्वयं मॉनिटरिंग करते हैं, जिसके परिणाम स्वरूप आज ग्वालियर में इस जघन्य अपराध में अपराधी को फांसी की सजा दिलाने में अभियोजन सफल हुआ है। श्री शर्मा द्वारा राज्य समन्वयक श्रीमती मनीषा पटेल तथा प्रत्येक जिले पर पॉस्को के प्रकरणों हेतु डिस्ट्रिक्ट कोऑर्डिनेटर की नियुक्ति की गई है, जो प्रत्येक केस की सतत रिपोर्टिंग श्री पुरुषोत्तम शर्मा को भेजते हैं तथा संचनालय स्तर पर श्री शर्मा द्वारा मध्यप्रदेश में संचालित बालकों के विरुद्ध हुए अपराधों पर सतत निगरानी करते हुए उचित मार्गदर्शन अधिकारियों को प्रदान किया जाता है। जिसके परिणाम स्वरूप पॉस्को के केसेस में अपराधियों को अधिक से अधिक सजा कराई जा रही है।श्री शर्मा का मानना है कि समाज मैं नासूर की तरह पल्लवित इस अपराध पर अंकुश लगाने की आवश्यकता है तथा अपराधियों को अधिक दंड देकर उनमे भय व्याप्त किया जा सके ताकि वे ऐसे जघन्य अपराध को करने से पहले 10 बार सोचे ।श्री शर्मा द्वारा ग्वालियर नियमित रूप से दौरा किया जाता रहा है तथा अधिकारियों को आपन श्रेष्ठ देने हेतु प्रेरित किया जाता रहा है।। श्री शर्मा द्वारा प्रकरण के लोक अभियोजक श्री अब्दुल नसीम जिला लोक अभियोजन अधिकारी ग्वालियर तथा उनके सहयोगी अति. जिला लोक अभियोजन अधिकारी श्री अनिल मिश्रा को बधाई दी तथा साथ ही कहा कि केंद्र एवं राज्य सरकार बालको एवं महिलाओं के विरुद्ध मामलों में काफी सख्त है और ऐसे आरोपियों के जेल के पीछे धकेलने में हमारा विभाग और हमारे अधिकारी कोई कसर नहीं छोड़ेंगे।
मीडिया प्रभारी श्री पवन कुमार शर्मा सहायक जिला लोक अभियोजन अधिकारी ग्वालियर ने बताया कि उक्त प्रकरण में अभियोजन द्वारा 28 गवाह प्रस्तुत किये गये थे। प्रकरण में डीएनए रिपोर्ट भी अभियोजन की ओर से सबूत के तौर पर प्रस्तुत की जाकर सिद्ध की गई उक्त प्रकरण में माननीय उच्च न्यायालय खण्डपीठ ग्वालियर के आदेशानुसार 6 सितम्बर 2020 को पुन: 6 अभियोजन साक्षियों के कथन हेतु आदेश प्राप्त हुआ जिसके तहत अभियोजन द्वारा अपने 6 गवाहों को न्यायालय में पुन: उपस्थित कराकर उनके बयान दर्ज कराये गये एवं उसके पश्चात अभियोजन अधिकारीगण द्वारा प्रभावी तर्कों को मय न्याय दृष्टांतों के आलेख में माननीय विशेष न्यायालय के समक्ष बहस व अंतिम तर्क किये गये जिसके परिणाम स्वरूप आरोपी को कठोरतम दण्ड मृत्युदण्ड से दण्डित कराया जा सका।
घटना का संक्षिप्त विवरण इस प्रकार है कि दिनांक 29/04/2017 को सूचना कर्ता ने सूचना दी कि मेरा लडका जो नावालिग था । दिनांक 28/04/2017 को मेरे साले की लडकी की शादी में गया था साथ मे मेरी दो लडकिया एवं दूसरा लडका भी गया था । शादी से मेरा लडका लोटकर नही आया जिसकी काफी तलाश की नही मिला आज सुवह पता चला कि मेरे लडके की लाश बरा गॉव के गड्डे मे पडी है जिसके शरीर पर जगह जगह चोटे है एवं लाश नग्न अवस्था में पडी है सूचना पर से मर्ग कायम कर जॉच की गयी मृतक की लाश का पंचायत नामा लिया जाकर पी.एम. कराया जाकर मृतक की रिपोट प्राप्त हुयी पी.एम. रिपोर्ट में डा. द्वारा मृतक की मौत गला घोटने एवं सिर में आयी चोटो के कारण एवं अप्राकृतिक कृत्य के कारण लेख है। मृतक की वहन से पूछताछ कर कथन लेख किये गये, मृतक की बहन ने कथन में बताया कि जोगेश नाथ 5 रूपये देकर मेरे भाई को शादी से दुकान पर ले गया व पिता ने बताया कि मेरी बेटी द्वारा सुवह बताया गया कि जोगेश नाथ मेरे भाई को 10 रूपये देकर शादी से दुकान पर ले गया था जोगेश पर मेरे लडके की हत्या का संदेह होना बताया तथा मृतक की दूसरी वहन से पूछताछ कर कथन लेख किये गये कथन में बताया कि दिनांक 28/04/2017 को योगेश शादी से गायव था दिनांक 29/04/2017 को सुवह 4 बजे खून से सनी शर्ट पेंन्ट को धोकर चला जाना बताया उक्त साक्षीगणों के कथनो पर से योगेश नाथ द्वारा मृतक की हत्या करने का संदेश व्यक्त किया गया है जिस पर से प्राथमिक जॉच पर पाया गया कि संदेही जोगेश नाथ मृतक वालक को रूपये देकर शादी से साथ ले गया एवं मृतक वालक के साथ अप्राकृतिक कृत्य कर मारपीट कर गला घोटकर हत्या करके लाश को एकांत क्रेशर के खंडहर के गड्डे मे ले जाकर साक्ष्य छुपाने के उद्देश्य से फेक दिया । जॉच पर से संदेही जोगेश नाथ के द्वारा धारा 377, 302, 201, भादवि ¾ पोक्सो एक्ट का अपराध घटित होना प्रतीत होता है । जिस पर से थाना बहोडापुर में अप.क्रमांक 260/17 अंतर्गत धारा 377, 302, 201, भादवि ¾ पोक्सो एक्ट का कामय कर विवेचना में लिया । माननीय न्यायालय श्रीमती अर्चना सिंह विशेष न्यायाधीश ने पुन: विचारण कर आरोपी योगेश उर्फ जोगेश नाथ पिता लालसिंहनाथ नाथ मोहल्ला शंकरपुर बहोडापुर ग्वालियर को माननीय न्यायालय ने धारा 302 भादवि में मृत्युदण्ड, धारा 363 भादवि में 7 वर्ष का सश्रम कारावास एवं 2000 रूपये का जुर्माना, धारा ¾ पोक्सो एक्ट में 10 वर्ष का सश्रम कारावास एवं 2000 रूपये का जुर्माना धारा 201 भादवि में 7 वर्ष का सश्रम कारावास एवं 2000 रूपये के अर्थदण्ड से दण्डित किया।
पैरवीकर्ता अधिकारी श्री अब्दुल नसीम एवं श्री अनिल मिश्रा द्वारा संचालक लोक अभियोजन श्री पुरूषोत्तम शर्मा को उनके कुशल मार्गदर्शन एवं अधिकारियों में उत्साहवर्धन हेतु धन्यवाद् देते हुए कहा कि लोक अभियोजन मध्य प्रदेश अपनी पूरी ऊर्जा सामर्थ्य के साथ बालकों एवं महिलाओं के विरूद्ध हो रहे लैंगिक शोषण के अपराधों में कठोरतम दण्ड कराने हेतु प्रतिबद्ध है।