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आयुष्मान योजना पर पीएम नरेंद्र मोदी सख्त, अफसरों से बोले- घोटाला हुआ तो खैर नहीं

नई दिल्लीः प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की महत्वकांक्षी आयुष्मान भारत+ बीमा योजना का पहला चरण 15 अगस्त को लॉन्च होने जा रहा है लेकिन उससे पहले ही पीएम मोदी ने इस योजना के बारे में अधिकारियों को सख्त हिदायत दी है. जिसमें इस योजना को सफल बनाने और किसी भी तरह की कोई गलती न होने का ख्याल रखने के लिए विशेष तौर पर कहा गया है.

पीएम मोदी की अधिकारियों को इस हिदायत के पीछे आगामी लोकसभा चुनावों को भी बताया जा रहा है क्योंकि वह नहीं चाहते ही इस योजना में किसी भी तरह की कोई गलती हो जिसको विपक्ष मुद्दा बना सके. शनिवार को हुई आयुष्मान योजना की रिव्यू मीटिंग में नीति आयोग, स्वास्थ्य मंत्रालय और पीएमओ के कई बड़े अधिकारियों ने हिस्सा लिया था. ये रिव्यू मीटिंग लगभग 90 मिनट तक चली थी.
प्रधानमंत्री की इस महत्वकांक्षी योजना आयुष्मान भारत नैशनल हेल्थ प्रोटेक्शन स्कीम जिसे मोदीकेयर + के नाम से भी जाना जाता है. इस योजना का पहला चरण स्वतंत्रता दिवस के मौके यानि 15 अगस्त को लॉन्च होगा. अपने पहले चरण में ये परियोजना 12 राज्यों में लॉन्च कर लागू की जाएगी. आयुष्मान भारत योजना की अंतिम तिथि 2 अक्टूबर यानि गांधी जयंति रखी गई है.15 अगस्त को लॉन्च से पहले पीएम मोदी ने इस योजना की तैयारियों से जुड़े अधिकारियों के साथ एक उच्च स्तरीय बैठक बुलाई थी जिसमें पीएम मोदी ने अधिकारियों को इस योजना के लिए विशेष सतर्कता बरतने की हिदायत दी है जिसमें इस योजना में किसी तरह के घोटाले या इस स्कीम को किसी अयोग्य व्यक्ति तक पहुचंने से रोकने की बात कही है.बता दें की प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की महत्वकांक्षी योजना आयुष्मान भारत यानि मोदीकेयर की योजना देश के 50 करोड़ लोगों तक स्वास्थ्य सुविधाएं पहुंचाने की है. इस योजना के तहत देश के ऐसे सभी परिवारों को प्रतिवर्ष 5 लाख का स्वास्थ्य बीमा का लाभ मिलेगा जो सामाजिक-आर्थिक और जातीय आधार पर वंचित है. आंकडों पर नजर डालें तो देश में इस वक्त ऐसे लोगों की संख्या 10.74 करोड़ है.

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